जितेन्द्र सिंह चौधरी/अतुल राय
वाराणसी। एडीसीपी महिला और अपराध ममता रानी के प्रभावी पैरवी से शादी का झांसा देकर नाबालिग किशोरी को बहला-फुसलाकर भगा ले जाने और उसके साथ दुष्कर्म करने के मामले में अदालत ने दो अभियुक्तों को दंडित किया है।
विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट द्वितीय) अनुभव द्विवेदी की अदालत ने फूलपुर थाना क्षेत्र निवासी अभियुक्त प्रदीप यादव को दोषी पाने पर 8 वर्ष के कठोर कारावास एवं 20 हजार रुपए अर्थदंड की सजा सुनाई है।
वहीं किशोरी को भगाने में सहयोग करने के मामले में अभियुक्त विनोद यादव को तीन वर्ष के कठोर कारावास व पांच हजार रुपए अर्थदण्ड की सजा सुनाई है। अभियोजन पक्ष के अनुसार फूलपुर थाना क्षेत्र निवासी वादिनी ने फूलपुर थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई थी।
आरोप था कि 13 मई 2016 को उसकी 17 वर्षीय नाबालिग लड़की को गांव का ही रहने वाला प्रदीप यादव अपने साथी विनोद यादव के साथ मिलकर बहला-फुसलाकर कहीं भगा ले गया है। काफी खोजबीन के बाद भी उसकी पुत्री का कहीं पता नहीं चल रहा है। इस मामले में वादिनी मुकदमा की तहरीर पर फूलपुर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर मामले की विवेचना शुरू की।
विवेचना के दौरान पुलिस ने 11 जुलाई 2016 को अभियुक्त प्रदीप यादव को गिरफ्तार कर उसके कब्जे से पीड़िता को बरामद कर अभियुक्त को जेल भेज दिया था। बाद में पुलिस ने पीड़िता का मेडिकल मुआयना कराने के बाद दोनों अभियुक्तों के खिलाफ दुष्कर्म समेत विभिन्न धाराओं में आरोप पत्र प्रेषित किया गया। अदालत ने विचारण के दौरान दोनों अभियुक्तों को दोषी पाने के बाद सजा सुना दी।