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यारों के यार और भाइयों के भाई थे सुधाकर कश्यप: बुद्ध प्रकाश
अनिल कश्यप
हापुड़। सपा के पूर्व दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री रहे सुधाकर सिंह कश्यप ने अपने समाज के लिए काफी संघर्ष किया। वहीं रात दिन समाज के लिए संघर्ष को कश्यप समाज कभी भूल नहीं पायेगा। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कश्यप समाज की रीड कहे जाने वाले पूर्व राज्यमंत्री सुधाकर सिंह कश्यप का देर रात्रि शनिवार को अचानक हृदय गति रूकने से निधन हो गया। निधन सूचना मिलते ही उनके चाहने वालों के परिवार में शोक की लहर दौड़ गयी। वही अलग-अलग जनपदों से व हर समाज के लोगों से उनका घरेलू रिश्ता रहा है। वही समाज के लोगों ने बताया की आज हमने अपने समाज का ऐसा नेता खो दिया है जो शासन प्रशासन में अपना लोहा मनवाने के लिए जाना जाता था।
चाहे किसी भी जाति धर्म संप्रदाय की हक और अधिकार की लड़ाई के लिए हमने उनको कहीं भी बुलाया, वह तुरंत पहुंचे और पीड़ित की यथासंभव मदद कर उसको न्याय दिलाने का काम किया करते थे। तो वहीं उनके पैतृक गांव पहुंचे लोगों ने कहा कि ऐसा नेता युगों युगांतर तक होना मुश्किल है कश्यप समाज सहित गरीब पिछडो के लिए मसीह के रूप में जाने जाते थे सुधाकर कश्यप निधन के बाद हर एक आंखें नम दिखाई दी। वहां पर मौजूद बुद्ध प्रकाश कश्यप ने बताया कि वह यारों के यार और भाइयों के भाई थे, हर मुसीबत में एक कॉल पर ही बड़े से बड़े अधिकारी से लोहा मनवाने का काम करते थे। ऐसे प्रिय नेता के दुखद निधन पर आज हम सब दुखी है। सुधाकर सिंह कश्यप ने अपना पूरा जीवन समाजवादी पार्टी को दे दिया है और हम समाजवादी पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव से यही उम्मीद करते हैं कि उनके परिवार को उनसे काफी उम्मीद है जिस पर समाजवादी पार्टी खरी उतरेगी। वहीं उनका अंतिम संस्कार उनके पैतृक गांव जनपद हापुड़ उपैडा में किया गया।