मौन तथा मुस्कान और सैनिक…

सैनिक का रहन सहन सीधा सादा,
देश से प्यार भी अति सीधा सादा,
हँसते—हँसते लड़ना हँसते हँसते शहीद
होना, विजयी होना भी सीधा सादा।
किसी व्यक्ति के जीवन में इससे
कठिन और फिर क्या होता है,
जीवन इतना जटिलता भरा है कि
सीधा सादा होना मुश्किल होता है।
सबका शरीर पृथ्वी, जल, अग्नि,
आकाश, वायु पाँच तत्वों से बनता है,
फिर भी कोई बिलकुल सीधा सादा
होता है और कोई बहुत जटिल होता है।
कोई दिखने में बहुत ख़ूबसूरत होता
है पर हृदय से बहुत विषम होता है,
तो कोई बाहर से दिखने में और हृदय
दोनो से ही अत्यंत ख़ूबसूरत होता है।
मौन और मुस्कान एक सैनिक के ये
अति अद्भुत और सरल गुण होते हैं,
ये दोनो गुण जिसने भी पाए होते हैं
ये उसे सदा सफलता दिलवाते हैं।
किसी समस्या से बचना है तो मौन
धारण कर लेना ही श्रेष्ठ होता है,
अगर समस्या का समाधान करना हो
तो मुस्कुराकर आगे बढ़ना होता है।
अच्छी भूमिका हो, लक्ष्य ऊँचा हो,
सादा जीवन और उच्च विचार हों,
आदित्य याद आते वे सदा दिल से,
दिमाग़ से, दिल से निकले शब्दों से।
कर्नल आदिशंकर मिश्र ‘आदित्य’
जनपद लखनऊ

ADVT 2024 Gahna Kothi Jaunpur

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